मुंबई: अपनी सहयोगी पार्टी भाजपा को 'काम में जीरो पर चुनावों में हीरो' करार देते हुए शिवसेना ने कहा है कि महाराष्ट्र में हाल के निकाय चुनावों में अपनी हार के लिए वह 'त्रुटिपूर्ण ईवीएम' को जिम्मेदार नहीं ठहराएगी.
अपने मुखपत्र 'सामना' में लिखे गए एक संपादकीय में शिवसेना ने कहा, 'एक वक्त ऐसा था जब कांग्रेस हर चुनाव जीता करती थी. वे काम में जीरो थे, लेकिन चुनावों में हीरो थे. आज भाजपा का हाल भी ऐसा ही है.'
बीते 19 अप्रैल को राज्य के जिन तीन नगर निकायों के लिए चुनाव हुए उनमें से भाजपा ने शुक्रवार को लातूर और चंद्रपुर नगर निगमों में जीत दर्ज की. परभनी नगर निगम में कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी के तौर पर उभरी. शिवसेना के पास लातूर के निवर्तमान सदन में छह सीटें थीं, लेकिन इस बार वह इस सीट पर खाता भी नहीं खोल सकी.
बहरहाल, पार्टी ने कहा कि हार के बाद भी वह ईवीएम की खराबी को जिम्मेदार नहीं ठहराएगी. शिवसेना ने कहा, 'इस बार शिवसेना अपना खाता भी नहीं खोल पाई. भाजपा की बड़ी जीत के लिए हम खराब ईवीएम को जिम्मेदार नहीं ठहराएंगे, बल्कि एक शोध किया जाना चाहिए कि आखिर लोग क्यों भाजपा की तरफ आकर्षित हो रहे हैं, किसान और युवा भाजपा के साथ ऐसे क्यों खड़े हैं, जैसे कोई सांप किसी सपेरे के पीछे-पीछे रहता है सभार NDTV
अपने मुखपत्र 'सामना' में लिखे गए एक संपादकीय में शिवसेना ने कहा, 'एक वक्त ऐसा था जब कांग्रेस हर चुनाव जीता करती थी. वे काम में जीरो थे, लेकिन चुनावों में हीरो थे. आज भाजपा का हाल भी ऐसा ही है.'
बीते 19 अप्रैल को राज्य के जिन तीन नगर निकायों के लिए चुनाव हुए उनमें से भाजपा ने शुक्रवार को लातूर और चंद्रपुर नगर निगमों में जीत दर्ज की. परभनी नगर निगम में कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी के तौर पर उभरी. शिवसेना के पास लातूर के निवर्तमान सदन में छह सीटें थीं, लेकिन इस बार वह इस सीट पर खाता भी नहीं खोल सकी.
बहरहाल, पार्टी ने कहा कि हार के बाद भी वह ईवीएम की खराबी को जिम्मेदार नहीं ठहराएगी. शिवसेना ने कहा, 'इस बार शिवसेना अपना खाता भी नहीं खोल पाई. भाजपा की बड़ी जीत के लिए हम खराब ईवीएम को जिम्मेदार नहीं ठहराएंगे, बल्कि एक शोध किया जाना चाहिए कि आखिर लोग क्यों भाजपा की तरफ आकर्षित हो रहे हैं, किसान और युवा भाजपा के साथ ऐसे क्यों खड़े हैं, जैसे कोई सांप किसी सपेरे के पीछे-पीछे रहता है सभार NDTV
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